2 December 2024
जीएम फसल से होने वाले नुकसान के बारे में किसान संघ ने सांसद चिंतामणि महाराज को कराया अवगत
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जीएम फसल से होने वाले नुकसान के बारे में किसान संघ ने सांसद चिंतामणि महाराज को कराया अवगत

Sarguja express….

अम्बिकापुर।भारतीय किसान संघ जीएम सरसो को लेकर प्रारंभ से इसके विरोध में मुखर रहा है। जेनेटिकली मॉडिफाइड सरसो की गुणवत्ता पर एक बड़ा प्रश्न चिन्ह लगा हुआ है यहां तक सर्वोच्च न्यायालय ने भी अपने निर्णय में इसके उपर संदेह जताया है।

देश मे जीएम फसल के रूप में बीटी कपास को सन 2002 में किसानों के बीच पिछले दरवाजे से लाया गया। कपास में बेक्टिरिया बेसिलस थुरंगेसिस (बीटी) से दो अलग जीन को डालकर बारी-बारी से अधिक जहरीला कपास बनाया गया और बताया गया था कि कपास में लगने वाली कीट पिंक बोलवार्म’ (गुलाबी सुंडी) को रोकेगा। लेकिन यह झूठा साबित हुआ। वर्ष 2005 में बी.जी.1 और 2009 में बी. जी.2 नाकाम हो गया। वैसे ही कई फसलों में जीव जंतुओं के जीन को डालकर नया जीव तैयारी का खेल चल रहा है। अभी तक यह तय नहीं है कि ऐसी फसलों को फसल कहें या जीव ?

खाद्यान फसलों में यदि जीव जंतुओं का जीन डाला जाता है तो उसको शाकाहारी बोलेंगें या मांसाहारी यह भी तय नहीं है। फिर भी बिना किसी चर्चा के, बिना किसी सलाह के, बिना किसी वैज्ञानिक परीक्षण-निरीक्षण से केवल झूठे प्रचार के आधार पर बीटी बेंगन से लेकर जीएम सरसो तक फसलों को भारत में लाने की कोशिशें हो रही है।

लगभग 20 वर्षो के अध्ययन के पश्चात् हाल ही में सर्वोच्च न्यायालय ने सुनवाई करते हुए माना कि जीएम पर जितने परिक्षण के प्रमाण हैं वे सभी विदेशों के ही हैं, न्यायालय ने सरकार से चार माह के भीतर जीएम फसलों पर समिति बनाने को कहा है जिसपर जीएम बीज के पक्षधर और सरकार अब तक खामोश बैठी हुई है।

हाल ही में कई अनुसंधान केन्दों के द्वारा भी इसकी पुष्टि की गई हैं कि जीएम फसल हर प्रकार से भारत की भौगोलिक संरचना, पर्यावरण,जलवायु एवं कृषि संस्कृति के लिए सर्वथा अनुचित और हानिकारक है। अतः इस पर तत्काल प्रभाव से देश मे प्रयोग करने से रोक लगाई जाए। जिसके लिए किसान संघ के द्वारा राष्ट्रव्यापी आंदोलन के तहत जिम्मेदार सरकार के मंत्री एवं सांसदों को उनके संसदीय क्षेत्रों में ज्ञापन देने का निर्णय लिया है। यदि सरकार ने इस पर समय रहते कोई निर्णय नहीं लिया तो भारतीय किसान संघ बड़ा जनआंदोलन कर सरकार का विरोध करेगा।

भारतीय किसान संघ किसानों से जुड़े इस महत्वपूर्ण विषय पर अपनी बारीकी से नजर बनाएं हुए हैं तथा निरंतर जीएम फसल से होने वाले नुकसान के बारे में किसानों को जागरूक कर सरकार के समक्ष विरोध जता रहा है। इस विषय को लेकर आज भारतीय किसान संघ जिला ने लोकसभा के सांसद चिंतामणि महाराज को ज्ञापन सौंपा है। ज्ञापन में किसान संघ के कार्यकर्ता दरिमा तहसील अध्यक्ष अनीता जायसवाल, अध्यक्ष लुन्ड्रा ब्लाक बबलू नामदेव अंबिकापुर ब्लॉक अध्यक्ष धीरज शर्मा बुधराम दास किशोर सिंह बघेल प्रदेश कार्यकारिणी सदस्य उपस्थित रहे।

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