22 November 2024
जनपद पंचायत कुसमी अंतर्गत ग्राम पंचायत भगवानपुर में सरपंच सचिव ने किया 20 लाख रुपए का गबन ,जांच में हुई लीपापोती… ग्रामीणों ने लगाया आरोप,,,
अनियमितता क्राइम राज्य

जनपद पंचायत कुसमी अंतर्गत ग्राम पंचायत भगवानपुर में सरपंच सचिव ने किया 20 लाख रुपए का गबन ,जांच में हुई लीपापोती… ग्रामीणों ने लगाया आरोप,,,

कुसमी।सामरी विधानसभा क्षेत्र अंतर्गत जनपद पंचायत कुसमी हमेशा सुर्खियों में बना रहता है , सुर्खियां बटोरने का कारण मात्र भ्रष्टाचार और भ्रष्टाचार ही है ,जैसे आदि आदर्श ग्राम के तहत निर्माण कार्य हो या निर्माण कार्य में जांच कमेटी के भ्रष्ट अधिकारियों की संलिप्तता हो, गलत काम को भी कमीशन लेकर सच बताने की बात हो या फिर बिना निर्माण कार्य करें पैसा आहरण की बात हो। मसला जो भी हो जनपद पंचायत कुसमी हमेशा सुर्खियों बना रहता है। एक बार फिर एक विशेष कारण से यह सुर्खियां बटोर रहा है….. मामला जनपद पंचायत के ग्राम पंचायत भगवानपुर का है जहां सरपंच जगमोहन राम एवं सचिव तिलीम साय के द्वारा 14 वा एवं 15 वा वित्त राशि में वर्ष 2021- 2022 एवं2022- 2023 के कुल वित्तीय वर्ष को मिलाकर लगभग ₹20 लाख रुपए का गबन बिना निर्माण कार्य किए किया गया है। हमारे संवाददाता को नाम ना बताने की शर्त पर लगभग चार माह पहले ही गांव के ही एक युवक ने बताया कि फर्जी तरीके से सरपंच और सचिव ने कुछ फर्जी मूल्यांकन कर और कुछ बिना काम किए पैसा बैंक से निकाला है ….. जिसकी जांच होनी चाहिए. जब हमने ग्राम पंचायत से इस संबंध में जानकारी जानना चाहा तो उनके द्वारा टाल मटोल किया जाने लगा, सचिव के द्वारा यह कहा गया कि कुछ पैसा लेकर मामला रफा-दफा कीजिए क्यों परेशान हैं,…… फिर उच्च कार्यालय से पता लगाने पर यह जानकारी मिली की ग्राम पंचायत भगवानपुर को 14 वा वित्त राशि मद से वर्ष 2021-22 के वित्तीय वर्ष में 21 लाख 62 हजार 271.00 रुपए प्राप्त हुए जिसमें उनके द्वारा 1152581.00 रुपए खर्च किए , एवम 2022-23 में 1342118.00रुपए प्राप्त हुए जिसमें ग्राम पंचायत के द्वारा 709952.00 खर्च किए। बाकी शेष राशि ग्राम पंचायत के द्वारा अन्य लोगों के खाते में डाल कर के बंदर बाट कर दिया गया ।दूर की बात तो छोड़ें सचिव के द्वारा अपने ही पत्नी के खाते पंचायत भवन जीर्णोधार के नाम पर लगभग ₹1लाख 20हजार रुपए फर्जी तरीके से दस्तावेज लगाकर आहरण स्वयं खाते में डाला जिसका पूरा प्रमाण जांच अधिकारियों के पास है जबकि जांच अधिकारियों द्वारा पंचायत भवन में जीर्णोद्धार का कार्य क्या ही नहीं गया ऐसा पाया गया ,फिर भी सचिव द्वारा पैसा डाला गया ग्राम पंचायत के द्वारा 2 लाख 50हजार का सी.सी .सड़क निर्माण कार्य पटेल पारा चौक से गुरुनानक के घर तक होना बताया गया है जिसका जांच उप अभियंता मिथिलेश चौबे द्वारा ग्राउंड जीरो पर जाकर किया गया एवं वास्तविक मूल्यांकन लगभग 1लाख 70 हजार बताया गया है क्योंकि प्राक्कलन के अनुसार सी.सी. सड़क की मोटाई कम होने के कारण इसका मूल्यांकन कम होना चाहिए था, लेकिन वास्तविकता में ग्राम पंचायत की माप पुस्तिका में इसका मूल्यांकन पूरा का पूरा भ्रष्ट अधिकारियों के द्वारा पूर्ण कर दिया गया है जो जांच का विषय है, आखिर इसका जिम्मेदार कौन है ???साथ ही नाली निर्माण कार्य अखरा से मेन रोड तक 1,69952.00का कार्य पूर्ण बताया गया है, जिसकी वास्तविकता अभी भी जाकर देखी जा सकती है स्टील की मात्रा अत्यंत कम होने के कारण बरसात शुरु भी नहीं हुई है,आधी नाली गिर चुकी है आखिर इसका जिम्मेदार कौन है??? शौचालय निर्माण एवं स्टेशनरी का भुगतान ₹58000.00 रुपए किया गया है जिसका कोई भी बिल वाउचर नहीं दिखाया गया , प्राथमिक शाला में रनिंग वाटर सप्लाई के नाम पर 80000.00 लाख का आहरण ग्राम पंचायत द्वारा किया गया है यदि मौके पर आज भी जाकर देखा जाए तो वास्तविक मूल्यांकन के आधार पर वहां ₹30हजार का भी कार्य ग्राम पंचायत द्वारा नहीं किया गया, ऐसा तकनीकी जांच अधिकारी मिथिलेश चौबे द्वारा मौके पर ही बताया गया था लेकिन बिना मूल्यांकन के फर्जी तरीके से सचिव तिलिम साय एवं सरपंच के द्वारा पैसा अपने चहेतों के खाते में डलवाया गया,। हद तो तब हो गई जब ग्राम पंचायत के द्वारा पंचायत भवन के पास चबूतरा निर्माण कार्य बिना करवाए ₹2लाख रुपए की राशि दिनांक 9 /9/ 2022 को आहरित कर लिया गया था जांच अधिकारियों के द्वारा जांच पर पूछे गए सवाल पर सचिव ने बताया कि हम लोग मटेरियल खरीदने के लिए पैसा आहरण किए हैं, लेकिन दुर्भाग्य की बात तो तब हो गई जब आज तक वहां पर चबूतरा निर्माण कार्य नहीं हुआ ,आखिर इसका जिम्मेदार कौन है??? इससे स्पष्ट प्रतीत होता है कि सरपंच सचिव के द्वारा घोर धांधली करते हुए पैसा का बंदरबांट किया गया है।वर्तमान उस समय पदस्थ मुख्य कार्यपालन अधिकारी संजय दुबे से इस संबंध में शिकायत की गई उनके द्वारा जांच टीम गठित की गई जिसमें जांच टीम में ग्रामीण यांत्रिकी सेवा उप संभाग कुसमी के उप अभियंता मिथिलेश चौबे एवं पंचायत इंस्पेक्टर महेश बुनकर के द्वारा ग्राउंड जीरो में जाकर मामले की सत्यता जाना। ग्रामीणों के द्वारा समस्त निर्माण कार्यों का अवलोकन भी संबंधित अधिकारियों को कराया गया साथ में पंचनामा बनाकर यह लिखा गया कि कई निर्माण कार्य फर्जी तरीके से हुए हैं, जांच में ग्राम पंचायत सचिव और सरपंच की भ्रष्टाचार में संलिप्तता होने के कारण उस समय के मुख्य कार्यपालन अधिकारी ने पंचायत सचिव को निर्देशित कर कुछ विषय बिंदुओं पर कारण बताओ नोटिस भी जारी किया था लेकिन भ्रष्ट पंचायत इंस्पेक्टर महेश बुनकर के उदासीन रवैए से आज तक पंचायत सचिव ने किसी प्रकार का कोई भी नोटिस का जवाब नहीं दिया कि किस कारण उसने अपनी पत्नी के खाते में पैसा डलवाया या फिर बिना निर्माण कार्य किए चबूतरा का राशि आहरण किया या फिर अपने चहेतों के खाते में ही पैसा क्यों डलवाया सवाल यह भी उठता है क्या पूरे विकासखंड में मैटेरियल सप्लाई के लिए एक ही वेंडर है पंचायत के द्वारा कोटेशन और कई वेंडरों से क्यों नहीं मंगवाया गया? यह कई प्रमुख बातें हैं जो ग्राम पंचायत के पूर्ण रूप से भ्रष्ट होने का संकेत दे रहे हैं इसके बावजूद भी जांच के 4 माह बाद भी अधिकारियों के भ्रष्ट रवैया के कारण संबंधित सरपंच एवं सचिव के ऊपर कार्यवाही नहीं हो पाई है, आखिर इसका जिम्मेदार कौन है??? इस पूरे मामले में सबसे अधिक संलिप्तता पंचायत स्पेक्टर महेश बुनकर की है ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि कमीशन खोरी के कारण महेश बुनकर के द्वारा मामले की जांच में लीपापोती की गई है साथ ही सरपंच एवं सचिव को बचाने की पूरी सफलतापूर्वक प्रयास किया गया है यदि यही हाल रहा तो शासन की महत्वाकांक्षी योजनाओं के लिए ग्राम पंचायतों में 14 वा एवं 15 वा वित्त की राशि जनता की मूलभूत सुविधाओं के लिए लाभ प्रद सिद्ध ना हो के भ्रष्ट सरपंच सचिवों के हाथ में चली जाएगी।

इस संबंध में सरपंच एवं सचिव से उनका पक्ष रखने के लिए संपर्क करना चाहा गया लेकिन इन दोनों के द्वारा फोन नहीं रिसीव किया गया।
महेश बुनकर पंचायत स्पेक्टर -इस संबंध में जब पंचायत इंस्पेक्टर से बात करना चाहा गया तो उनके द्वारा यह कहा गया कि मैं नोटिस तो सचिव को दे दिया था लेकिन उसका जवाब मिला है या नहीं मिला है संदीप बाबू से पूछना पड़ेगा
मुख्य कार्यपालन अधिकारी अभिषेक पांडे -जांच का विषय है नियमानुसार पुनःजांच की जाएगी।
कलेक्टर बलरामपुर -इस संबंध में कलेक्टर बलरामपुर ने बताया कि यह जांच का विषय है संपूर्ण रूप से जांच किया जाएगा।

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