2 December 2024
नेत्र विभाग की ओर क्यों धृतराष्ट्र बने है जिम्मेदार..? व्यवस्था देखने वाले एचओडी ही आते हैं महीने में दो-तीन बार…. आखिर किसकी मेहरबानी का है हाथ … इधर जमीन पर ऑपरेशन वाले मरीज
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नेत्र विभाग की ओर क्यों धृतराष्ट्र बने है जिम्मेदार..? व्यवस्था देखने वाले एचओडी ही आते हैं महीने में दो-तीन बार…. आखिर किसकी मेहरबानी का है हाथ … इधर जमीन पर ऑपरेशन वाले मरीज

अम्बिकापुर। मेडिकल कॉलेज अस्पताल अम्बिकापुर में नेत्र विभाग की तरफ देखने वाला कोई नहीं है। पिछले कुछ दिनों से लगातार नेत्र विभाग में अंधत्व निवारण शिविर के तहत विभिन्न ब्लॉक के मोतियाबिंद के मरीजों को लाकर उनका ऑपरेशन किया जा रहा है। कई मरीजों को ऑपरेशन के बाद जमीन पर भी सोना पड़ रहा है। विभाग में अवस्था ना हो इसके लिए हर विभाग में एचओडी की नियुक्ति की गई है, परंतु नेत्र विभाग के एचओडी ही विभाग से नदारद रहते हैं। महीने में दो-तीन बार वे विभाग में पहुंचते हैं। वहां के स्टाफ का कहना है कि जब ज्यादा मरीज ऑपरेशन के लिए आते हैं तो उन्हें सूचित करके बुला लिया जाता है। अंदाजा लगाया जा सकता है कि लोगों को नेत्र ज्योति प्रदान करने वाले इस विभाग की ओर किस तरह से जिम्मेदार धृतराष्ट्र बने बैठे हैं। आखिर जो एचओडी अंबिकापुर में ही महीने में दो-तीन बार आता है उसे किसी विभाग के व्यवस्था की जिम्मेदारी क्यों दी गई है यह मेडिकल कॉलेज के अधिष्ठाता ही बता सकते हैं।

मेडिकल कॉलेज अस्पताल के नेत्र विभाग में वर्तमान में पिछले कुछ दिनों से सरगुजा के विभिन्न ब्लॉक से मोतियाबिंद के मरीजों को लाकर ऑपरेशन किया जा रहा है। ऐसे में हर रोज बाहर से कई मरीज नेत्र विभाग में पहुंच रहे हैं। स्थिति तो यह भी बन रही है कि कई ऑपरेशन वाले मरीजों को जमीन पर भी सोना पड़ रहा है। टारगेट पूरा करने जिस तरह से ऑपरेशन किया जा रहे हैं उसे पर तो कई सवाल खड़े जरूर हो रहे हैं, परंतु विभाग की व्यवस्था सुचारू रूप से चल सके और कोई अव्यवस्था ना हो इसके लिए पदस्थ किए गए एचओडी
डॉ आर के सोरी के ही हमेशा विभाग से नदारत रहने से पूरा काम मनमाफिक चल रहा है। ऑपरेशन वाले मरीज को ठंड के इन दिनों में पलंग नसीब नहीं हो रहा है। ड्यूटी रोस्टर के अनुसार पहले यूनिट में अन्य चिकित्सकों के साथ विभाग अध्यक्ष को भी ओपीडी में बैठना है परंतु नेत्र विभाग के विभाग के अध्यक्ष अपना भार दूसरे को देकर अंबिकापुर से बाहर ही रहते हैं। महीने में दो-तीन बार विभाग अध्यक्ष नेत्र विभाग में दिख जाएं तो बहुत है।
भारी भरकम वेतन लेने के बाद भी कई कई दिनों तक विभाग से गायब एचओडी पर किसकी मेहरबानी बरस रही है और क्यों …यह जवाब तो मेडिकल कॉलेज के अधिकारी दे सकते हैं।

स्टाफ को भी नहीं है जानकारी, कौन है विभाग अध्यक्ष

नेत्र विभाग की पड़ताल करने पर जब हमारी टीम के द्वारा विभाग के एचओडी डॉ सोरी के बारे में जानकारी दी गई तो विभाग के कई स्टाफ उनके नाम से ही अंजान दिखे। कुछ स्टाफ उनके नाम से परिचित जरूर थे, परंतु वे किस कारण से अंबिकापुर से बाहर हमेशा रहते हैं इसके बारे में वे लोग भी जानकारी नहीं दे पाए। अलबत्ता स्टाफ ने हमारी टीम के मेंबर का मोबाइल नंबर लेकर कहा कि जब एचओडी साहब आएंगे तो हम आपको फोन करके बता देंगे।

मैं दिखवाता हूं -डीन

मेडिकल कॉलेज के अधिष्ठाता डॉ रामनेश मूर्ति से इस संबंध में चर्चा करने पर उन्होंने कहा कि नेत्र विभाग के विभाग अध्यक्ष डा. सोरी कॉन्फ्रेंस में रहने के कारण संभवतः छुट्टी पर होंगे परंतु लगातार अगर वह विभाग में नहीं आ रहे हैं, तो मैं दिखाता हूं।

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